गुरुग्राम, सोमवार को दीपावली पर्व के दौरान न्यू व ओल्ड गुरुग्राम सहित पूरा शहर रोशनी से जहां एक ओर जगमगा उठा, वहीं दूसरी ओर लोगों ने जमकर आतिशबाजी कर एक दूसरे का मुंह मीठाकर माता लक्ष्मी व भगवान श्रीगणेश की पूजा अर्चना की। दीपावली से 3 दिन पूर्व लोगों ने अपने घरों के बाहर रंग-बिरंगी लाईटें लगाकर रोशनी से जगमग करना शुरु कर दिया था। सोमवार की सायं शहर के घरों व बाहर मिट्टी के दीये से लेकर देशी-विदेशी लडिय़ों की रोशनी से पूरा शहर जगमगाया हुआ था। साईबर सिटी में उद्योगपतियों ने अपनी-अपनी फैक्ट्रीयों, शोरुम, दुकान में सभी लोगों ने अपने अपने प्रतिष्ठानों पर पूजा-अर्चना कर लक्ष्मी-गणेश की आरती उतारी। वे एक दूसरे को उपहार आदि देकर दीपावली की शुभकामनाएं दी। सोमवार सायं करीब 7 बजे से रात्रि करीब 11 बजे तक साईबर सिटी गुरुग्राम में लोगों ने जमकर प्रतिबंधित पटाखों से लेकर ग्रीन पटाखे छोडक़र दीपावली पर्व मनाया। कई स्थानों पर रात्रि में एक बजे तक भी लोगों द्वारा पटाखे छोड़े गए। लोगों द्वारा अधिक पटाखे छोड़े जाने के कारण जहां एक ओर गली-मौहल्लों में पटाखों से कूड़ा फैला, वहीं दूसरी ओर पटाखों के धूएं से प्रदूषण में भी इजाफा हुआ। ग्रेप बढऩे के कारण फैक्ट्रीयों में जनरेटर, तंदूर के कोयले, कूड़ा आदि जलाने पर दिशा-निर्देश जारी किए हुए थे तथा जिला उपायुक्त ने ग्रेप को कम करने के लिए पेड़ों व सडक़ों पर पानी का छिडक़ाव आदि करने के निर्देश दिए थे। दीपावली पर पटाखे आदि बड़ी मात्रा में छोडऩे कारण एनसीआर में प्रदूषण का स्तर पहले से अधिक बढ़ गया। चिकित्सकों द्वारा निर्देश जारी किए गए थे कि दीपावली पर्व के दौरान पटाखे आदि का कम से कम प्रयोग किया। उनके अनुसार पटाखों से निकलने वाला धुंआ ह्रदय रोग, छोटे बच्चों एक दमा के मरीजों के लिए नुकसानदायक है।
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