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किसानों के दिल्ली कूच से आम जनता परेशान, गाजीपुर बॉर्डर पर छात्रों ने साझा किया दर्द

किसान फिर से दिल्ली कूच कर रहे हैं. सरकार से हुई बातचीत को उन्होंने खारिज किया है और दिल्ली में शांतिपूर्ण प्रदर्शन की बात की है. किसानों ने कहा है कि उनकी प्रदर्शन से किसी को कोई दिक्कत नहीं होगी. वहीं, ग्राउंड से आ रही कुछ आवाजों ने शिकायत की है कि शहर की धीमी रफ्तार के कारण परीक्षा को निकले छात्रों को काफी दिक्कत हो रही है.

सरकार से बातचीत फिर एक बार बेनतीजा रहने के बाद फिर से किसान दिल्ली की ओर बढ़ रहे हैं. सारा फोकस भले सिंघू बॉर्डर पर केंद्रित हो मगर जानकारी के मुताबिक ग्रेटर नोएडा में भी किसान आज ट्रैक्टर रैली निकालेंगे. ग्रेटर नोएडा के नॉलेज पार्क मेट्रो स्टेशन से कलेक्ट्रेट तक ये ट्रैक्टर रैली जाएगी और भारतीय किसान यूनियन (टिकैत गुट) के किसान इस ट्रैक्टर रैली में शामिल होंगे.

ऐसे में गाजीपुर बॉर्डर पर रफ्तार धीमी हो गई है और सुरक्षा बैरिकेडिंग के कारण चार लेन ब्लॉक कर दिए गए हैं. गाजीपुर बॉर्डर पर सर्विस लेन 200 मीटर तक पूरी तरह से बंद है. इस कारण कुछ छात्रों ने परेशानी की भी बात की है. परीक्षा के लिए निकले छात्रों ने कहा है कि 2 घंटे पहले उन्हें निकलना पड़ता है और खासी दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है.

पंजाब से दिल्ली कूच करने वाले किसानों के लिये बेशक अभी दिल्ली दूर है और सुरक्षा व्यवस्था, सरकार की मुस्तैदी देख किसानों का हरियाणा में प्रवेश और उसको पार करना भी मुश्किल लग रहा है. बावजूद इसके दिल्ली एनसीआर पर इस प्रदर्शन का असर दिखने लगा है. दिल्ली के बॉर्डरों पर कड़े सुरक्षा इंतजाम ने दिल्ली एनसीआर की रफ्तार को धीमा कर दिया है. कई इलाकों से जाम की शिकायतें रिपोर्ट की जा रही हैं.

दिल्ली के गाजीपुर बॉर्डर पर सर्विस लेन को पूरी तरह ब्लॉक किया गया है जबकि फ्लाइओवर आंशिक रूप से ब्लॉक होने के कारण एक्सप्रेसवे पर चारों लेन दोनों तरफ डिस्टर्ब हुए हैं. सुरक्षा बैरिकेडिंग के कारण फ्लाइओवर की रफ्तार धीमी हो रही है. दसवीं की बोर्ड परीक्षा में जा रहे छात्रों, आंगनवाड़ी में काम करने वाली महिलाओं ने बताया है कि प्रदर्शन के कारण बहुत दिक्कत और देरी हो रही है.

किसानों का क्या है कहना?

हालांकि, किसानों का कहना है कि उनके इस प्रदर्शन से किसी को दिक्कत नहीं होगी और उनको शांतिपूर्ण प्रदर्शन और दिल्ली में एंट्री की इजाजत देनी चाहिए. सरकार किसानों के साथ अब भी एमएसपी के मुद्दे पर बातचीत की बात कह रही है मगर किसानों का मानना है कि सरकार कोई ठोस समाधान नहीं रख रही है.

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