रामनगरी अयोध्या में सोलर वोट से नावें चलेंगी तो राममंदिर के भव्य पुर्ननिर्माण के साथ विभिन्न पौराणिक स्थलों का भी सुंदरीकरण किया जा रहा है।
रामनगरी अयोध्या को दुनिया की सबसे सुंदर तीर्थ स्थली बनाने के लिए दिनरात काम जारी है। प्रदेश सरकार की मंशा अयोध्या को सुंदरतम नगरी बनाने की है। इसे पूरा करने के लिए सीएम योगी लगातार अयोध्या के विकास कार्यों पर खुद नजर रखे हैं। 32 हजार करोड़ रुपये से संपूर्ण अयोध्या का अभूतपूर्व विकास हो रहा है। वहीं राम नगरी में 14 करोड़ रुपये से 21 पौराणिक स्थलों का सुंदरीकरण कराया जाएगा। इसमें पंचकोसी व 14 कोसी परिक्रमा पथ सहित कई पौराणिक तीर्थों का 14 करोड़ रुपए से सुंदरीकरण किया जाना है।
पौराणिक महत्ता वाले स्थलों को भव्य रूप देने की कवायद शुरू
भव्य राममंदिर में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा से पहले रामनगरी की पहचान और पौराणिक महत्ता वाले स्थलों को भव्य रूप देने की कवायद शुरू हो चुकी है। दो चरणों में रामनगरी के करीब 40 तीर्थस्थलों का जीर्णोद्धार व सुंदरीकरण कराया जाना है। पहले चरण में अभी 21 धार्मिक स्थलों का चयन किया गया है। पौराणिक स्थलों के सुंदरीकरण के लिए प्रस्तावित पहले चरण में काम होगा। इनमें से अधिकांश धार्मिक स्थलों पर प्रतिदिन हजारों श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ती है।
गरिमा के अनुरूप प्रदान की जाएगी भव्यता
इन स्थलों, पौराणिक कुंडों, तीर्थों के सुंदरीकरण के अतिरिक्त यात्री सुविधाओं का भी विकास किया जाएगा। इनमें शौचालयों व पेयजल के अलावा विश्रामालय का भी निर्माण शामिल है। इसके साथ ही मंदिरों को दुरूस्त किया जाएगा। इनकी मुखाकृति को उनकी गरिमा के अनुसार भव्यता प्रदान की जाएगी। कुंडों के पास सीढिय़ों व घाटों का निर्माण, कहीं बाउंड्री व गेट का निर्माण, कहीं पाथ- वे के साथ इलेक्ट्रिक वर्क व अन्य योजनाएं सम्मिलित की गई हैं।
इन स्थलों का होगा सुंदरीकरण
21 करोड़ से जिन स्थलों का सुंदरीकरण होगा उनमें रिषभ मंदिर, सियाराम किला, दिगंबर अखाड़ा, तुलसी चौरा मंदिर, कौशल्या घाट मंदिर, कालेराम मंदिर, नेपाली मंदिर, चित्रगुप्त मंदिर, विश्वकर्मा मंदिर, छोटी देवकाली मंदिर, मौर्या मंदिर, भरत महल मंदिर, रामगुलेला मंदिर, दशरथ भवन, राम कचहरी, ब्रह्मकुंड गुरूद्वारा, जानकीघाट, मंगल भवन और लक्ष्मण किला शामिल हैं।
क्या कहते हैं उप निदेशक पयर्टन
उपनिदेशक पर्यटन आरपी यादव के मुताबिक पहले चरण में 21 पौराणिक स्थलों का सुंदरीकरण कराया जाना है। इनकी गरिमा के अनुरूप इन्हें भव्यता प्रदान की जाएगी। इसमें कुछ मठ-मंदिर व कुंड शामिल हैं। यात्री सुविधाएं भी विकसित करने की योजना है। यह सभी कार्य दिसंबर 2023 तक पूरे कर लिए जाएंगे।
अयोध्या में सोलर बोट चलाने की हो रही तैयारी
अयोध्या में सोलर बोट चलाने की तैयारी हो रही है। यूपी नेडा और पर्यटन विभाग के सहयोग से संचालन किया जाएगा। यूपी नेडा और पर्यटन विभाग के बीच इसे लेकर एमओयू किया गया है। ऊर्जा मंत्री और पर्यटन मंत्री मौजूदगी में इस बारे में समझौता किया गया है। अब अयोध्या में सरयू का किनारा सोलर की रौशनी से जगमग होगा। इसके अलावा सोलर बोट से धार्मिक स्थानों की सैर कराई जाएगी। पहले चरण में 17 बोट को चलवाने का प्रस्ताव मंजूर किए गए हैं। फिलहाल कुल 30 सीटर सोलर बोट से अयोध्या के दर्शन यात्री कर सकेंगे।